यादों में

तू यादों में आती है जब
सामने आ जाता है सब

मेरी आँखो में तैरता है
तेरे साथ बिताया लम्हा हर

पता नहीं क्या खता हुई थी
जो बिखर गए वो लम्हें सब

........ मिलाप सिंह भरमौरी

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